पटियाला: दो सितंबर (ए)
पुलिस ने यह जानकारी दी।
पठानमाजरा हरियाणा के करनाल जिले के डाबरी गांव में थे जहां पुलिस दल उन्हें गिरफ्तार करने पहुंचा था।
पटियाला अपराध जांच एजेंसी (सीआईए) के प्रभारी ने कहा, ‘‘हमने हरियाणा में पठानमाजरा के आवास पर छापा मारा। उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। लेकिन ग्रामीणों के एक समूह और कुछ शरारती तत्वों ने पुलिस टीम पर पथराव किया और गोलियां चलाईं।’’
उन्होंने बताया कि सनौर के विधायक पठानमाजरा गोलियों और पथराव की आड़ में फरार हो गए।
अधिकारी ने बताया कि विधायक के साथी बलविंदर सिंह को तीन हथियारों के साथ गिरफ्तार किया गया है। उन्होंने कहा कि उसके पास से एक टोयोटा फॉर्च्यूनर भी जब्त की गई है।
इस मामले में दर्ज प्राथमिकी के अनुसार पठानमाजरा पर बलात्कार, धोखाधड़ी और आपराधिक रूप से डराने धमकाने के आरोप दर्ज किए गए हैं।
पठानमाजरा ने इससे पहले दिन में फेसबुक लाइव पर यह बात कही।
यह मामला जीरकपुर की एक महिला की शिकायत पर दर्ज किया गया था, जिसने आरोप लगाया था कि विधायक ने खुद को तलाकशुदा बताकर उसके साथ संबंध बनाए और बाद में शादीशुदा होते हुए भी 2021 में शादी कर ली।
उसने विधायक पर लगातार यौन शोषण, धमकियां देने और उसे ‘अश्लील’ सामग्री भेजने का आरोप लगाया।
प्राथमिकी के बाद, पठानमाजरा ने फेसबुक पर लाइव आकर पंजाब सरकार की कड़ी आलोचना की और आरोप लगाया कि दिल्ली स्थित आप नेतृत्व ‘पंजाब पर अवैध रूप से शासन कर रहा है।’
उन्होंने पार्टी के अन्य विधायकों से अपने साथ खड़े होने की अपील की। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस या भाजपा सरकारों के दौरान, केंद्रीय नेतृत्व राज्य के मामलों में आप की तरह हस्तक्षेप नहीं करता था।
पठानमाजरा ने कहा, ‘‘वे मेरे खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर सकते हैं, मैं जेल में रह सकता हूं, लेकिन मेरी आवाज को दबाया नहीं जा सकता।’’
रविवार को, पठानमाजरा ने एक वरिष्ठ आईएएस अधिकारी पर उनके अनुरोध के बावजूद नदियों, खासकर तंगरी नदी की सफाई और गाद निकालने जैसे कदम न उठाने का आरोप लगाया।
उन्होंने कहा कि सरकार को लोगों की बात सुननी चाहिए, वरना वे ‘‘हमें पीटेंगे।’’
पठानमाजरा ने यह भी आरोप लगाया कि पार्टी प्रशासन को दुरुस्त करने के बजाय पंजाब के विधायकों को दबाने की कोशिश कर रही है।
विधायक ने कहा कि उन्होंने पंजाब विधानसभा में कई बार यह मुद्दा उठाया, ज्ञापन दिए और प्रमुख सचिव (जल संसाधन) कृष्ण कुमार से कई बार व्यक्तिगत रूप से मुलाकात की, लेकिन ‘‘एक भी सार्थक कदम नहीं उठाया गया।’’
रविवार को पठानमाजरा के निर्वाचन क्षेत्र के कई गांव बाढ़ की चपेट में थे। उन्होंने इस मौके पर नौकरशाहों पर निशाना साधा और कहा कि वह तंगरी नदी की सफाई और नदियों के किनारों को मजबूत करने के लिए उनके पास की मिट्टी के इस्तेमाल की अनुमति देने की मांग करते रहे हैं, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ।
उन्होंने मुख्यमंत्री भगवंत मान से कृष्ण कुमार को तुरंत उनके पद से हटाने का भी आग्रह किया।
सोमवार को, पठानमाजरा ने दावा किया कि उनकी सुरक्षा वापस ले ली गई है और उनके निर्वाचन क्षेत्र के सभी थाना प्रभारियों और पुलिस चौकी प्रमुखों का तबादला कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि उन्हें इस कार्रवाई का पहले से ही अंदाज़ा था।
पठानमाजरा ने कहा, ‘‘मैंने कल ही अपने सुरक्षाकर्मियों से कह दिया था कि उन्हें वापस भेज दिया जाएगा। दिल्ली के नेता (आप पार्टी के) सोचते हैं कि वे मुझे सतर्कता (कार्रवाई) या प्राथमिकी से डरा सकते हैं, लेकिन मैं कभी नहीं झुकूंगा। मैं अपने लोगों के साथ चट्टान की तरह खड़ा रहूंगा।’’